रविवार को पीएसी के स्थापना दिवस पर 35वीं वाहिनी पीएसी में आयोजित ‘पीएसी दिवस समारोह-2017’ को सम्बोधित करते हुए योगी ने कहा कि अंतर्राष्ट्रीय सीमाओं की चौकसी, घुसपैठियों की रोकथाम, उग्रवाद एवं नक्सलवाद के विरुद्ध अभियान, विधि-व्यवस्था स्थापित करने में यूपी पीएसी ने अपनी निष्ठा, साहस एवं वीरता के जो मापदण्ड स्थापित किए हैं, वह किसी भी सशस्त्र बल के लिए आदर्श हैं। इस मौके पर उन्होंने गार्ड ऑफ ऑनर की सलामी ली।
मुख्यमंत्री ने कहा कि पीएसी ने 69 वर्ष के अपने गौरवशाली इतिहास के दौरान कई दुरूह एवं चुनौतीपूर्ण अवसरों पर अपनी बहुत महत्वपूर्ण सेवाएं दी हैं। प्रदेश की कानून-व्यवस्था को बनाए रखने में पीएसी की महत्वपूर्ण भूमिका स्वतः सिद्ध हैं। उन्होंने कहा कि विभिन्न चुनौतीपूर्ण अवसरों पर पीएसी जिन प्रदेशों में कार्यरत रही है, उन प्रदेशवासियों के दिलों में पीएसी ने अपनी अच्छी छवि अंकित की है। उन्होंने कहा कि पीएसी की 74 अक्रियाशील कंपनियों को क्रियाशील करने के लिए 18 हजार जवानों की भर्ती की जाएगी। उन्होंने कहा कि यूपी पुलिस की दो प्रमुख यूनिट्स एसटीएफ और एटीएस में पीएसी के ही कमांडो हैं।
पीएसी से ही एसडीआरएफ का भी गठन किया जा रहा है। इसकी कुल 6 टीमें बनाई जाएंगी। इनमें से 3 टीमों का गठन कर लिया गया है। उन्होंने कहाकि गुजरात विधान सभा चुनाव-2017 को सकुशल सम्पन्न कराने में पीएसी दलों की सराहनीय भूमिका रही है।इस अवसर पर डीजीपी सुलखान सिंह और एडीजी पीएसी राज कुमार विश्वकर्मा ने सीएम को स्मृति चिह्न देकर अभिवादन किया। इस मौके पर सीएम ने उल्लेखनीय कार्य करने वाले पीएसी के जवानों को सम्मानित किया और प्रदर्शनी का भी अवलोकन किया।