नई दिल्ली। अमेरिका से 2+2 डायलॉग से पहले मंगलवार को भारत ने रूस के साथ डिफेंस डील पर पीछे न हटने के संकेत दिए। यही नहीं भारत ने कहा कि अमेरिका को इस संबंध में कोई भी फैसला लेने से पहले आपसी संबंधों की महत्ता के बारे में सोचना चाहिए। भारत ने कहा कि रूस से एस-400 ऐंटी-एयरक्राफ्ट मिसाइल डिफेंस सिस्टम की खरीद को लेकर प्रतिबंध जैसा फैसला लेने से पहले अमेरिका को भारत के साथ अपने रणनीतिक संबंधों के स्तर को भी समझना होगा।यही नहीं ईरान से तेल आयात को लेकर भी भारत ने स्पष्ट संकेत दिया है। बता दें कि 2+2 डायलॉग के तहत अमेरिका के विदेश मंत्री माइक पॉम्पियो और रक्षा मंत्री जिम मैटिस भारत आ रहे हैं। दोनों नेता गुरुवार को विदेश मंत्री सुषमा स्वराज और डिफेंस मिनिस्टर निर्मला सीतारमन से मुलाकात करेंगे। इससे पहले अहम ऊर्जा साझीदार ईरान को लेकर भी सरकार ने अपना रुख स्पष्ट करते हुए कहा कि अमेरिका के दबाव में उससे तेल आयात के फैसले पर कोई कदम उठाने का सवाल ही नहीं उठता।इस वार्ता को हाल के सालों में भारत के लिए बेहद कूटनीतिक महत्व का बताते हुए आधिकारिक सूत्रों ने कहा, हमें उम्मीद है कि अमेरिका यह नहीं भूलेगा कि भारत के साथ उसके रणनीतिक संबंध किस स्तर के हैं। अमेरिका को यह समझना होगा और संबंधों के महत्व को ध्यान में रखते हुए प्रतिबंधों से बचना होगा। माना जा रहा है कि अमेरिकी मंत्रियों के साथ बातचीत में ईरान से कच्चे तेल के आयात और रूस के साथ एस-400 डील पर प्रमुखता से बात हो सकती है। बता दें कि अमेरिका की ओर से डील को रद्द करने के दबाव के बावजूद भारत ने रूस के साथ 6 अरब डॉलर के एस-400 ऐंटी-एयरक्राफ्ट मिसाइल डील पर आगे बढऩे का फैसला लिया है।
अमेरिका से 2+2 वार्ता से पहले भारत का रूस और ईरान से डील पर पीछे हटने से इनकार
