अमरेश कुमार सिंह, असिस्टेंट एडिटर ICN भारतीय रीति रिवाज परंपरा प्रतिष्ठा के अनुसार मैं भी शादी के योग्य होता जा रहा हूं। वैसे परंपराओं के अनुसार मुझे अपने दिखावटी पद पर अब काम करना शुरू कर देना चाहिए। जैसे कि मैं किसी कंपनी में मैनेजर हूं तो मुझे खुद को कंपनी का मालिक बता देना चाहिए। मेरी कमाई ₹10000 हो तो माहौल ऐसा बनाना चाहिए कि वह 1000000 लगे। आन, बान, शान इतनी शानदार बतानी चाहिए की मानो आपकी बेटी मेरी पत्नी बन कर नहीं आपकी वन टाइम इन्वेस्टमेंट बनकर…
Read MoreDay: June 16, 2019
लोकतंत्र और लोकशक्ति
सुरेश ठाकुर “लोकतंत्र सबसे निकृष्ट शासन पद्दति है” | ये कथन करते समय विंस्टन चर्चिल के मष्तिष्क में शासक और प्रजा के अंतर्सम्बंधों का विसंगतियों से परिपूर्ण दृश्य अवश्य विद्यमान होगा | शासक और शासित के बीच के अन्तर को संकीर्ण करती इस पद्दति को मैं श्रेष्ठतर मानता हूँ | किंतु इस के साथ एक बड़ी शर्त भी लागू है | शर्त है लोक शक्ति का विवेकशील होना | एक ऐसी व्यवस्था जहाँ प्रजा स्वयं परोक्षतयः शासक होती हो वहाँ उस में एक शासक की दृष्टि होना अति आवश्यक है…
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