गुड पेरेंटिंग: आज और भविष्य की ज़रूरत

डॉ. प्रांजल अग्रवाल, डिप्टी एडिटर-ICN लखनऊ। भौतिकता के इस दौर में, मकान हो या मोटर कार, क्रेडिट कार्ड हो या विदेश यात्रा, सभी भौतिक वस्तुओं तक लगभग सभी की पहुँच होती जा रही है | देखा- देखी के इस दौर में, किसी ज़रूरतमंद की मदद करने से बेहतर, लोग शादी-पार्टी में अथवा गोल्ड लाउन्ज में सिनेमा देखने में अत्यधिक खर्च करना बेहतर समझते हैं | दिखावे का माहोल ऐसा बन पड़ा है की शहर में बड़े मकान से ले कर मोटर कार तक, या फिर मोबाइल फ़ोन से ले कर घड़ी/पर्स इत्यादि…

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धुएँ में स्वाहा होती जिंदगियां।

डॉ अनुरूद्ध वर्मा  तम्बाकू एवँ धूम्रपान से होने वाली बीमारियों की गंभीरता का अनुमान विश्व स्वास्थ्य संगठन के इन आंकड़ों से लगाया जा सकता है कि दुनिया में प्रतिवर्ष लगभग 80 लाख लोग तम्बाकू जनित बीमारियों के कारण असमय मौत का शिकार हो जातें हैं तथा भारत मे यह आंकड़ा 10 लाख से ऊपर है। वर्तमान समय में तम्बाकू एवँ धूम्रपान  की लत  पूरे विश्व में जनस्वास्थ्य के लिए गंभीर समस्या बनी हुई है और पूरा चिकित्सा जगत समस्या से चिंतित है कि किस प्रकार  इससे मुक्ति पाया जाए।तम्बाकू के…

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गर्मी के मौसम में रखें सेहत का ख्याल।

डॉ अनुरूद्ध वर्मा गर्मी का मौसम शुरु हो गया है और इसके साथ ही शुरू हो गई है बीमारियों की बरसात। गर्मी को एक तरह से बीमारियों का मौसम कहा जाता है। गर्मी के मौसम में कालरा, गैस्ट्रोएन्टेराइटिस, दस्त, पेचिश, टायफॉइड बुखार, पीलिया, भोजन विषाक्तता, उल्टी आदि संक्रामक बीमारियां होती हैं जो कि गंदगी,प्रदूषित जल, प्रदूषित भोजन और असावधानी से होती हैं तथाब समय पर सही उपचार ना मिलने पर जानलेवा  भी हो सकती है। कुछ सावधनियाँ अपनाकर इन बीमारियों से बचा जा सकता है। गर्मी में होने वाली ज्यादातर…

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सेल्फी : मनोरंजन या मनोरोग ?

डॉ. संजय श्रीवास्तव क्या आप सभी जानते है की एक ख़ास सर्वेक्षण के अनुसार अवसाद के बाद दुस्साहसिक सेल्फी लेना युवाओं में होने वाली मृत्यु का दूसरा सबसे बड़ा कारण निकल कर सामने आया है | यूँ तो आप सभी जानते ही हैं की तस्वीरें खिचवाने का या अपनी तस्वीरे बनवाने का प्रचलन सदियों से चला आ रहा है उसके पीछे का मनोविज्ञान यही है की हर व्यक्ति खूबसूरत दिखना चाहता है और वह अपनी खूबसूरत तस्वीर को देख कर गौरान्वित अनुभव करता है ,प्रसन्न होता है वक़्त बदलता गया…

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जीवित रहने के लिए पानी की तरह जरूरी है प्रोटीन

डॉ. नौशीन अली ब्यूरो चीफ आई.सी.एन. (म.प्र) प्रोटीन शरीर के निर्माण में यह अपनी अहम भूमिका निभाता है व पाचक रसों (गेस्ट्रिक जूस ) का निर्माण करता है। भोपाल।प्रोटीन की कमी से जोड़ों और मांसपेशियों में दर्द हो सकता है।सिनोविअल फ्लूइड प्रोटीन से बना होता है और यह जोड़ों में मौजूद होता है.जोड़ों को लचीला बनता है.साथ ही मांसपेशियों का पुनर्निर्माण करता है। प्रोटीन की कमी से फ्लूइड कम बनता है जिससे जोड़ों और मांसपेशियों में दर्द होता है.प्रोटीन सिर्फ बॉडी बनाने की चाहत रखने वालों के लिए ही जरूरी नही होता, बल्कि यह खासोआम की…

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भारत का पहला NABH प्रमाणित मानसिक अस्‍पताल बना निर्वाण हॉस्पिटल

लखनऊ। राजधानी लखनऊ में पिछले 32 सालों से चल रहा निर्वाण हॉस्पिटल अब 100 बिस्तरों वाला निजी क्षेत्र का देश का पहला NABH प्रमाणित अस्पताल बन गया है।निर्वाण अस्पताल के संस्थापक और एमडी डॉ. एचके अग्रवाल ने बताया कि National Accreditation Board for Hospitals {NABH} प्रमाणपत्र लम्‍बी प्रक्रिया के बाद मिलता है। निर्वाण अस्पताल के मेडिकल डायरेक्टर डॉ. दीप्तांशु अग्रवाल ने बताया कि रोगियों को मानसिक स्वास्थ्य स्थितियों के लिए विशेष देखभाल होती है। एंजायटी, बाइपोलर डिसऑर्डर, डिप्रेशन, शराब, स्मैक, इन्जेक्शन व नशीली दवाओं की लत, ऑटिज्म, डिमेंशिया, पर्सनेलिटी डिसऑर्डर, ईटिंग…

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धुएँ में स्वाहा होती जिंदगियां।

डॉ अनुरूद्ध वर्मा  तम्बाकू एवँ धूम्रपान से होने वाली बीमारियों की गंभीरता का अनुमान विश्व स्वास्थ्य संगठन के इन आंकड़ों से लगाया जा सकता है कि दुनिया में प्रतिवर्ष लगभग 80 लाख लोग तम्बाकू जनित बीमारियों के कारण असमय मौत का शिकार हो जातें हैं तथा भारत मे यह आंकड़ा 10 लाख से ऊपर है। वर्तमान समय में तम्बाकू एवँ धूम्रपान  की लत  पूरे विश्व में जनस्वास्थ्य के लिए गंभीर समस्या बनी हुई है और पूरा चिकित्सा जगत समस्या से चिंतित है कि किस प्रकार  इससे मुक्ति पाया जाए।तम्बाकू के…

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धुएँ में स्वाहा होती जिंदगियां।

डॉ अनुरूद्ध वर्मा  तम्बाकू एवँ धूम्रपान से होने वाली बीमारियों की गंभीरता का अनुमान विश्व स्वास्थ्य संगठन के इन आंकड़ों से लगाया जा सकता है कि दुनिया में प्रतिवर्ष लगभग 80 लाख लोग तम्बाकू जनित बीमारियों के कारण असमय मौत का शिकार हो जातें हैं तथा भारत मे यह आंकड़ा 10 लाख से ऊपर है। वर्तमान समय में तम्बाकू एवँ धूम्रपान  की लत  पूरे विश्व में जनस्वास्थ्य के लिए गंभीर समस्या बनी हुई है और पूरा चिकित्सा जगत समस्या से चिंतित है कि किस प्रकार  इससे मुक्ति पाया जाए।तम्बाकू के…

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सेल्फी : मनोरंजन या मनोरोग ?

डॉ. संजय श्रीवास्तव  क्या आप सभी जानते है की एक ख़ास सर्वेक्षण के अनुसार अवसाद के बाद दुस्साहसिक सेल्फी लेना युवाओं में होने वाली मृत्यु का दूसरा सबसे बड़ा कारण निकल कर सामने आया है | यूँ तो आप सभी जानते ही हैं की तस्वीरें खिचवाने का या अपनी तस्वीरे बनवाने का प्रचलन सदियों से चला आ रहा है उसके पीछे का मनोविज्ञान यही है की हर व्यक्ति खूबसूरत दिखना चाहता है और वह अपनी खूबसूरत तस्वीर को देख कर गौरान्वित अनुभव करता है ,प्रसन्न होता है वक़्त बदलता गया…

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विश्व पी सी ओ एस जागरूकता माह : 1 सितंबर से 30 सितम्बर

डॉ अनुरूद्व वर्मा, एडीटर-ICN जरूरी है जागरूकता , बचाव एवं समय पर उपचार महिलाओं में आजकल पी सी ओ एस बहुत सामान्य समस्या हो गई है पहले जहां महिलाएं घर की चार दीवारी में ही अपना जीवन बिता देती थी लेकिन अब समय इतना बदल गया है कि आज महिलाएं घर और बाहर दोनों की जिम्‍मेदारी सभाल रही हैं जिससे उन्हें संतुलन बनाये रखने में अपने लिए समय निकालने में कठिनाई होती है। असमयभोजन , स्वास्थ्य की अनदेखी, मशीनी जीवनशैली और तनाव के कारण आजकल महिलाएं अनेक बीमारियों से ग्रस्त…

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